शुक्रवार, 21 दिसंबर 2012

रोमिंग फ्री से बदलेगी तस्वीर?

भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (TRAI) ने 20 दिसंबर, 2012 की प्रेस विज्ञप्ति में यह संकेत दिया है के भारत में मोबाइल रोमिंग के कायदे कानूनों में बदलाव की संभावनाएं हैं जिसके अंतर्गत प्राथमिक तौर पर यह निर्धारित किया जाएगा के मोबाइल सुविधाओं को रोमिंग शुल्क से मुक्त किया जाए। इस बदलाव से न सिर्फ नंबर बदलने की परेशानियों से छुटकारा मिलेगा अपितु अनर्गल चार्जेज से भी मोबाइल उपभोक्ताओं को राहत मिलेगी। TRAI ने मोबाइल सुविधा देने वाली सभी निकायों से 17 जनवरी 2013 तक इस बाबत राय मांगी है ताकि सभी सम्बंधित पार्टियों के दृष्टिकोण पर विचार किया जा सके।

मोबाइल सुविधा देने वाली सभी कंपनियां TRAI के इस कदम से खुश नहीं दिखती और अपनी मजबूरी का रोना रोती है। उनका कहना है पहले से ही उनकी खस्ता हो रहे मुनाफे में यह एक बड़ी सेंध होगी और अगर ऐसा हुआ तो शुल्कों में बढ़ोत्तरी अवश्यम्भावी हो जायेगी। यहाँ यह समझना भी जरूरी होगा के भारत में मोबाइल सुविधा शुल्क दुनिया में सबसे कम है।

24 सितम्बर 2011 में ही दूरसंचार मंत्री श्री कपिल सिब्बल ने अपने बयान में यह साफ़ कर दिया था के 2013 की पहली तिमाही तक पूरे भारत में रोमिंग फ्री हो जायेगी। TRAI की प्रेस विज्ञप्ति इसी पहल की अगली कड़ी है। इस तरह की संभावनाओं की बात पिछले एक साल से लगातार होती रही है। आम उपभोक्ताओं को क्या मिल पायगा यह तो वक़्त ही बताएगा। रोमिंग फ्री होना एक सकारात्मक कदम है लेकिन व्यावसायिक दृष्टी से यह कितना सही हो पायेगा, कैसे सरकार एक बीच का रास्ता निकालेगी? यह सारे अनुत्तरित प्रश्न उत्तर की तालाश में रहेंगे।

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